Monday, February 8, 2016

खाना नहीं बनाने पर पति ने पत्नी को उतारा मौत के घाट. पुलिस ने बेपर्दा किया मामला.



पत्नी ने खाना नहीं बनाया... तो पति ने कर दी हत्या! कुछ ऐसा ही हुआ प्रतापगढ़ में. महज़ खाना नहीं बनाने की बात पर एक पति ने अपनी ही पत्नी को दर्दनाक तरीके से मौत के घाट उतार दिया. यही नहीं, उसका अंतिम संस्कार भी करने लगा. देखिए रिपोर्ट-

26 जनवरी सुबह देगवढ़ थाना प्रभारी दामोदर सिंह को सूचना मिली कि "मोगिया आम्बा गांव में बापूलाल मीणा अपनी पत्नी रेशम की सामान्य मृत्यु होना बताकर दाह संस्कार की तैयारी कर रहा है, जबकि बात कुछ और है!" सुचना पर पुलिस मौके पर पहुची और मृतका की लाश का मुआयना किया. लाश पर जख्म देख पुलिस समझ गई कि कहानी कुछ और ही है. आस-पास के लोगो और मृतका के परिजनों से बात लगने लगा कि पति ने ही उसकी हत्या की है. पति ने सख्ती से पूछताछ करने पर सारी कहानी बेपर्दा हो गई... आरोपित ने बताया --- कि मृतका ने उसके लिए खाना नहीं बनाया और उसे र्इंंट लेकर मारने दौड़ी थी. इसलिए उसने रेशम के साथ गंभीर मारपीट कर हत्या की है. हुआ यूँ कि 25 जनवरी शाम को बापूलाल अपनी पत्नी रेशम को खाना बनाने की कहकर खेत पर चला गया था. इसके बाद वह रात करीब आठ बजे घर आया. उसकी पत्नी रेशम ने खाना नहीं बनाया. रेशम ने शराब पी और बहू के साथ झगड़ा भी करने लगी. बापूलाल और रेशम के मध्य आपस में विवाद हो गया था. पत्नी रेशम ईंट लेकर पति बापूलाल को मारने दौड़ी. इस पर बापूलाल ने रेशम के साथ लात-घूसों एवं लठ से मारपीट कर उसकी हत्या कर थी. इसके बाद रेशम को खाट पर सुला दिया. सुबह परिजनों को बताया कि रेशम की शराब पीने से मौत हो गई है. इसके बाद अंतिम संस्कार करने लगे. इस दौरान पुलिस मौके पर पहुंच गई. पुलिस ने मृतका के शरीर का अवलोकन किया, जिसमें मृतका के शरीर पर चोटों के निशान पाए गए. मौके पर उपस्थित मृतका के पीहर पक्ष के लोगों ने भी हत्या की आशंका जाहिर की. स्थिति को देखते हुए रेशम के शव का जिला चिकित्सालय में मेडिकल बोर्ड से पोस्टमार्टम कराया. पोस्टमार्टम रिपोर्ट में भी मृतका के साथ मारपीट की पुष्टि हुई. इसमें उसकी पसलियां टूटकर अन्दर जाने से लीवर डेमेज होने से मृत्यु होना पाया गया.

महज़ खाना नहीं बनाने की बात पर बापूलाल यह कदम उठाएगा, रेशम ने कभी सोचा भी नहीं होगा. बापूलाल ने शराब की नशे में जो किया, उसकी भरपाई वो कभी नहीं कर सकता. पत्नी को खो देने के बाद बापूलाल अब सलाखों के पीछे हैं!

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