प्रतापगढ़ में सरपंच संघ ने काम-काज ठप्प कर दिया है. सरपंच संघ ने सरकार की घोषणाओं को नाकारा बताते हुए ग्राम पंचायतों पर तालाबंदी कर दी है..
प्रतापगढ़ जिले के सरपंचो ने सरकार का विरोध करते हुए काम ठप्प कर दिया है. और इस विरोध में भाजपा और कोंग्रेस दोनों ही पार्टियों के सरपंच साथ हो गए हैं. इस विरोध की शुरुआत जिले की अरनोद पंचायत समिति से शुरू हुई है. दरअसल चार महीने पहले मुख्यमंत्री ने सरपंच संघ की मांग पर आश्वासन दिया था बावजूद इसके अब तक ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज विभाग ने आदेश प्रसारित नहीं किए. दरअसल किसी भी खरीददारी के लिए ग्राम-पंचायतो में निविदा प्रक्रिया को बंद कर सरपंचो को ही खरीददारी के अधिकार दिए जाने थे.. पर यह आश्वासन खोखला साबित हुआ. और इसी बीच प्रतापगढ़ जिला प्रशासन की ओर से अरनोद पंचायत समिति की सभी 29 ग्रामपंचायतों में माल खरीद के लिए टेंडर यानि निविदा निकाल दी गई. बस तभी से विरोध शुरू हो गया है... सरपंच चाहते हैं कि निविदा निरस्त हो और सरकार यह नियम बदले और साथ ही सरपंचो को ही उनके अनुसार किसी भी माल की खरीद करने का अधिकार प्रदान करे. किसी भी माल की खरीददारी के लिए टेंडर नहीं निकाले जाएँ...
अपनी मांग को लेकर सरपंच संघ ने काम ठप्प करना शुरू कर दिया है. शुरुआत अरनोद उपखंड से की गई है जहाँ तमाम ग्रामपंचायतो पर ताले लगे हैं. ऐसे में गाँव-गाँव की व्यवस्था चरमराने की कगार पर है. सरपंच संघ के जिला महामंत्री राजेश कटारा ने कहा कि सरकार सरपंचो के साथ दोहरी नीति अपना रही है, जो अन्यायपूर्ण है. सरकार बात-बात पर निविदा प्रक्रिया अपना रही है. सरकार आदेशों को निरस्त करे. नहीं तो सरपंच विरोध जारी रखेंगा और काम ठप्प रखेंगे.
सरपंचो ने कहा कि पंचायत राज में निविदा प्रक्रिया को बंद कर पंचायत के अधिनस्त ही काम को होने दिया जाए, ताकि गुणवत्ता बनी रहे और काम सुचारू हो...! सरपंच संघ की मांग पर सरकार कब अमल करती है, यह देखने वाली बात होगी. लेकिन तब तक जिले भर के ग्रामपंचायतो में काम प्रभावित होना तय है... नतीजा अभी से नज़र आने लगा है.
अपनी मांग को लेकर सरपंच संघ ने काम ठप्प करना शुरू कर दिया है. शुरुआत अरनोद उपखंड से की गई है जहाँ तमाम ग्रामपंचायतो पर ताले लगे हैं. ऐसे में गाँव-गाँव की व्यवस्था चरमराने की कगार पर है. सरपंच संघ के जिला महामंत्री राजेश कटारा ने कहा कि सरकार सरपंचो के साथ दोहरी नीति अपना रही है, जो अन्यायपूर्ण है. सरकार बात-बात पर निविदा प्रक्रिया अपना रही है. सरकार आदेशों को निरस्त करे. नहीं तो सरपंच विरोध जारी रखेंगा और काम ठप्प रखेंगे.
सरपंचो ने कहा कि पंचायत राज में निविदा प्रक्रिया को बंद कर पंचायत के अधिनस्त ही काम को होने दिया जाए, ताकि गुणवत्ता बनी रहे और काम सुचारू हो...! सरपंच संघ की मांग पर सरकार कब अमल करती है, यह देखने वाली बात होगी. लेकिन तब तक जिले भर के ग्रामपंचायतो में काम प्रभावित होना तय है... नतीजा अभी से नज़र आने लगा है.
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